शुक्रवार, 5 फ़रवरी 2010

दोस्ती शायरी

साँसों का चलना ही जिन्दगी नहीं होती,

साँसों का थामना ही मौत नहीं होती,
खुद खुद को भी दफ़न करना पड़ता है दोस्ती में,
हर किसी को दोस्त कह देने से दोस्ती नहीं होती|

विजय पटेल का ब्लॉग © 2011 BY VIJAY PATEL