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आँखों में अरमान जिया करते करते है
मुहब्बत होती नहीं सूरत से
आपकी रात की अच्छी शुरुआत हो
रिश्तें किसी से यूँ निभा लो
एहसास दोस्त पे जताना नहीं होता
हर डाली आपको झुक कर सलाम दें
आपकी पसंद सबकी चाहत बन जाये
नज़र से जब दिल का टकराव होता है
हर पल में ही आपका नाम होगा
कागज पर हमने ज़िन्दगी लिख दी
तुमने ना सुनी धड़कन हमारी
कभी मेरे दर्द का एहसास कर लेना
पलकें तो आँखों की हिफाजत होती है
आज खुशियों की कोई बधाई देगा
तारों को गिनने वाले हम ना थे
खुदा प्यार सबको देता है
रिश्तें खून के नहीं,रिश्ते एहसास के होते है
इतनी आसानी से कैसे भूल जाता है कोई
चाहत के परदे में नफरत है मुमकिन
सदा आपके होठों पर मुस्कान रहे
हर तमन्ना आपकी यु पूरी हो जाये
यादों से जुड़कर याद आते हो आप
दोस्तों को अक्सर ये शिकायत रहती है हमसे
हर दिन आता है,हर दिन जाता है
प्यार तो ज़िन्दगी का लम्हा है
इस कदर मुझको सताते हो आप
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शुक्रवार, 25 फ़रवरी 2011
रिश्तें किसी से यूँ निभा लो
प्रस्तुतकर्ता बेनामी
रिश्तें किसी से यूँ निभा लो,
कि उसके दिल के सारे गम चुरा लो,
इतना असर किसी पर छोड़ दो अपना,
कि हर कोई कहे हमें भी अपना दोस्त बना लो|
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